Powers Bestowed upon Sahaja Yogis Bordi (भारत)

                        सहज योगीयों को प्रदत्त शक्तियां   बोर्डी (भारत)  27 जनवरी, 1980 मैंने कल आपसे कहा था, कि हमें अपनी पहले से उपलब्ध शक्ति, और वे शक्तियाँ जो हमें मिल सकती हैं उनके बारे में जानना होगा, । सबसे पहले हमें यह जानना चाहिए कि हमें कौन सी शक्तियां मिली हैं, और हमें यह भी पता होना चाहिए कि हम उन शक्तियों को कैसे संरक्षित करने जा रहे हैं और कौन सी शक्तियां हम बहुत आसानी से प्राप्त कर सकते हैं।  पहली शक्ति जो आत्मसाक्षात्कार के बाद आपको मिलती है, वह पृथ्वी की सबसे बड़ी शक्ति है। यह श्री गणेश की शक्ति है। केवल वह ही यह काम कर सकते है जो आप लोग आज कर रहे हैं, और वह शक्ति कुंडलिनी को उठाने की है। अध्यात्म के इतिहास में अब तक किसी ने भी कुंडलिनी को इतने कम समय में नहीं उठाया है जितना आप लोग कर रहे हैं। यह आपकी उंगलियों के अधीन चलती है; यह बिल्कुल श्री गणेश की शक्ति है जो आपको दी गई है। उस समय जब आप आत्मसाक्षात्कार दे रहे हों, भले ही आप अपने चक्र में से किसी एक में फंस गए हों, या आपको कोई समस्या हो, भले ही आप थोड़ा सा बाधित भी हो, भले ही आप इतने अच्छे सहज योगी न हों, भले ही आप माताजी के सामने इतने समर्पण नहीं कर रहे हैं, भले ही आपको सहज योग के बारे में अधिक समझदारी न हो, फिर भी कुंडलिनी आपकी उंगलियों के अधीन उठती है।  गणेश की यह विशेषता स्वयं श्री गणेश Read More …

Transformation, Morning Advice at Bordi seminar Bordi (भारत)

                    रूपांतरण   बोर्डी (भारत) सेमिनार में सुबह की सलाह   27 जनवरी, 1980 जब सभी यहां आये तब हर कोई बहुत अच्छा महसूस कर रहा था, खुश था और उन्हें लगा, उनके चैतन्य बिल्कुल ठीक थे। लेकिन ऐसा नहीं था। इसलिए सतर्क रहें, आप देखें – एक-दूसरे से इसे परखने को कहें कि कृपया आप जाँच करें, इसके बारे में विनम्र रहें। आपको परखते रहना चाहिए। जब तक आप खुद की जांच नहीं करते, तब तक आप कैसे जानेंगे कि आप क्या चीज पकड़ रहे हैं? दूसरों को आपकी जाँच करने के लिए निवेदन करें और विनम्र रहें, इसके बारे में बहुत विनम्र हों | चीजों को हल्केपन में न लें,  जब तक हम खुद को बदल नहीं देते,सहज योग का आपके लिए कोई मतलब नहीं है। आप देखें, इस रेडियो, ट्रांजिस्टर या, लाउडस्पीकर की ही तरह सहज योग की अभिव्यक्ति का भी बहुत भौतिक तरीका हो सकता है। हमें यह जानना होगा कि सहज योग हमारे माध्यम से ऊर्जा प्रवाहित करने मात्र के लिए नहीं है, जैसे कि अन्य सभी भौतिक चीजें ऊर्जा पारित कर रही हैं।यह माइक ऊर्जा को प्रसारित कर रहा है, यह ट्रांजिस्टर ऊर्जा को फैला रहा है और इस तरह की अन्य सभी चीजें ऊर्जा को प्रसारित कर रही हैं।उन के अंदर कुछ नहीं जाता।जैसे … एक कलाकार गा रहा है और, उसकी आवाज का रेडियो में से  गुजरना होता है। उसी तरह,चूँकि किसी तरह कुंडलिनी को शक्ति के स्त्रोत्र से जोड़ा गया है, यदि हमारी शक्ति बहने लगती है ; ना तो इसने अपना काम किया, Read More …